पंचकूला जिले की आशा वर्कर आज 14 वे दिन अपने हक और मांगों के लिए यवनिका पार्क सेक्टर 5 पंचकूला में इकट्ठा हुई।
पंचकूला दिनांक 20-8- 2020 पंचकूला जिले की आशा वर्कर आज 14 वे दिन यवनिका पार्क सेक्टर 5 पंचकूला में आशा वर्कर के जिला प्रधान सुमन की अध्यक्षता में इकट्ठा हुई मंच का संचालन आशा वर्कर की जिला सचिव वंदना ने किया। आशा वर्कर यूनियन हरियाणा की राज्य कोषाध्यक्ष सुनीता ने कहा कि जब तक सरकार सम्मानजनक समझौता नहीं करती, हड़ताल जारी रहेगी। जहां एक तरफ करोना महामारी का संकट गहराता जा रहा है। वहीं हरियाणा सरकार हठधर्मिता अपनाते हुए क्रोना योद्धाओं आशा वर्करों के इंसेटिव में कटोतिया कर रही है। जिसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने 21 जुलाई 2018 को हरियाणा सरकार से हूए समझौते को तुरंत प्रभाव से लागू करने की मांग की।
कोरोना महामारी के चलते जोखिम भत्ता ₹4000 लागू करने ,की गई कटौतिया वापिस लागू करने ,सामाजिक सुरक्षा की गारंटी देने ,आशाओं को हेल्थ वर्कर मानने और कर्मचारी का दर्जा देने ,तब तक न्यूनतम वेतन लागू करने, न्यूनतम वेतन ₹24000 घोषित करने की मांग की.
सीटू के जिला प्रधान रमा व जिला सचिव लच्छी राम ने संबोधित करते हुए केंद्र व हरियाणा सरकार के बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के नारे की पोल खोलते हुए कहा की बेटियों को पढ़ाने, बचाने का नारा देने वाली सरकार बेटियों से फ्री में काम लेना चाहती है
जिस रफ्तार से महंगाई बढ़ रही है, बाजार मंदी की चपेट में है, सार्वजनिक क्षेत्र बेचा जा रहा है, उद्योग बंद हो रहे हैं, श्रम कानूनों को बदला जा रहा है। मात्र ₹4000 में आशा वर्करों का गुजारा कैसे हो सकता है, जबकि देश का न्यूनतम वेतन अधिनियम कानून है। केंद्र की सरकार ही अपने बनाए गए कानून को तोड़ रही है। न्यूनतम वेतन अधिनियम कानून का मतलब है ,कहीं भी काम करने वाला कोई भी मजदूर न्यूनतम वेतन से कम वेतन नहीं दिया जाएगा। हरियाणा में न्यूनतम वेतन 9800/रू. से ऊपर है। लेकिन आशा वर्करों को मात्र ₹4000 मानदेय दिया जा रहा है। जो केंद्र सरकार अपने ही कानून को तोड़ रही है। उन्होंने राज्य सरकार से बातचीत के माध्यम से समाधान करने की मांग की, क्योंकि हरियाणा में कोरोना के केस लगातार बढ़ रहे हैं
और इस दौरान हरियाणा सरकार द्वारा आशा वर्करों को हड़ताल पर जाने के लिए मजबूर किया जा रहा है। जो जनता हित में नहीं है ,क्योंकि बरसात का मौसम शुरू हो गया है और बीमारियां भयंकर रूप धारण कर रही हैं .इसलिए राज्य सरकार तुरंत प्रभाव से आशा वर्करों की की गई कटौतिया बाहल करें और उनकी मांगों पर सहानुभूति पूर्ण विचार करते हुए समझौते की तरफ बढ़े ,ताकि आम जनता को महामारी से बचा जा सके.
जारीकर्ता
वंदना
जिला सचिव आशा वर्कर यूनियन पंचकूला