सीएलएफ लिटराटी 2025 का 13वां संस्करण 21 से 23 नवंबर को होगा आयोजित….
चंडीगढ़, 31 अक्टूबर 2025: चंडीगढ़ लिटरेरी सोसाइटी (सीएलएस) द्वारा सीएलएफ लिटराटी 2025 का 13वां संस्करण 21 से 23 नवंबर 2025 तक चंडीगढ़ के सुंदर लेक क्लब में आयोजित किया जाएगा।
लेक क्लब में फेस्टिवल का पोस्टर जारी करते हुए डॉ. सुमिता मिश्रा (आईएएस), सीएलएस की फाउंडर-चेयरपर्सन और फेस्टिवल डायरेक्टर ने बताया कि इस साल का विषय ‘वर्ल्डस विदिन वर्ड्स’ रखा गया है। इस तीन दिवसीय फेस्टिवल में 12 रोचक सत्र होंगे जिनमें मुख्य भाषण, पैनल चर्चा और नई पुस्तकों पर बातचीत होगी।
इस वर्ष के सीएलएफ लिटराटी 2025 में भारत के प्रसिद्ध लेखकों के साथ-साथ अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया के जाने-माने लेखक भी शामिल होंगे। इस तरह यह फेस्टिवल विचारों, कहानियों और कल्पनाओं का एक सच्चा वैश्विक उत्सव बनेगा।
विचारोत्तेजक चर्चाओं के साथ-साथ, इस फेस्टिवल में युवाओं के लिए स्टोरीटेलिंग वर्कशॉप, कविता पाठ, और फेस्टिवल की मुख्य थीम से प्रेरित विशेष कला प्रदर्शनी भी आयोजित की जाएगी, जिसमें सुंदर पेंटिंग्स प्रदर्शित होंगी। पहले दिन यानी 21 नवंबर की उद्घाटन संध्या पर एक सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया जाएगा। फेस्टिवल के दौरान बुक साइनिंग, बुक सेल स्टॉल और हैंड व फेस पेंटिंग वाले इंटरएक्टिव आर्ट कॉर्नर इस लिटरेरी उत्सव के अनुभव को और भी समृद्ध बनाएंगे। इसके अलावा सीएलएस ने भवन डांसिंग कोर्टयार्ड के साथ मिलकर एक विशेष प्रस्तुति की घोषणा की है — ‘स्वरित मुद्राएं’, जो भरतनाट्यम नृत्य प्रस्तुति होगी। यह प्रस्तुति डॉ. सुचेता भिडे-चापेकर की शिष्याओं द्वारा भारतीय विद्या भवन, सेक्टर 27, चंडीगढ़ में 22 नवंबर की शाम को दी जाएगी।
डॉ. मिश्रा ने यह भी बताया कि इस वर्ष पहली बार प्रतिष्ठित सीएलएफ लिटरेटी बुक अवॉर्ड्स शुरू किए जा रहे हैं, जिनका उद्देश्य हिंदी और अंग्रेज़ी साहित्य में उत्कृष्ट लेखन को सम्मानित करना है। ये पुरस्कार तीन श्रेणियों में दिए जाएंगे — अंग्रेज़ी फिक्शन, अंग्रेज़ी नॉन-फिक्शन, और हिंदी फिक्शन/नॉन-फिक्शन। ये पुरस्कार उन पुस्तकों के लिए होंगे जो 1 जनवरी 2024 से 31 जुलाई 2025 के बीच प्रकाशित हुई हैं। पुरस्कारों के लिए देशभर के लेखकों और प्रकाशकों से उत्साहजनक प्रतिक्रिया मिली है। लॉन्गलिस्ट जल्द जारी की जाएगी।
सीएलएफ लिटराटी 2025 न केवल लेखकों बल्कि रचनात्मक कलाओं से जुड़े सभी लोगों के लिए एक जीवंत मंच बनेगा, जहाँ वे अपनी प्रतिभा प्रदर्शित कर सकेंगे और सार्थक बौद्धिक संवाद कर पाएंगे। यह महोत्सव अब देश के सबसे प्रतिष्ठित साहित्यिक आयोजनों में से एक बन चुका है।


