लाइव कैलेंडर

April 2025
M T W T F S S
 123456
78910111213
14151617181920
21222324252627
282930  

LIVE FM सुनें

India News24x7 Live

Online Latest Breaking News

बंगीय सांस्कृतिक सम्मिलनी द्वारा 16 अप्रैल को बंगा भवन में मनाया जाएगा ‘पोइला बोइशाख’….

चंडीगढ़, 14 अप्रैल 2025: बंगीय सांस्कृतिक सम्मिलनी (बीएसएस), चंडीगढ़ द्वारा बंगाली नववर्ष पोइला बोइशाख को पूरे उत्साह और बंगाल की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के प्रति प्रेमभाव के साथ मनाया जा रहा है। इस वर्ष का प्रमुख आकर्षण 16 अप्रैल 2025 को शाम 7 बजे बंगा भवन सेक्टर 35 में आयोजित किया जाने वाला पारंपरिक बंगाली नाट्य रूपांतरण ‘जात्रा’ है, जिसके बाद एक विशेष बांग्ला रात्रि भोज का आयोजन किया जाएगा।

डॉ. अमित भट्टाचार्य, प्रेसिडेंट, बीएसएस ने बताया कि हमने बंगाल की एक लुप्त होती सांस्कृतिक कला जात्रा को प्रस्तुत करने का निर्णय लिया है, जिसे इस बार बीएसएस के सदस्यों द्वारा ही मंचित किया जाएगा। हम सभी को इस अनूठे सांस्कृतिक कार्यक्रम में आमंत्रित करते हैं।

बीएसएस चंडीगढ़ की एक 50 वर्ष से अधिक पुरानी पंजीकृत संस्था है, जो लगातार सामाजिक सौहार्द और सांस्कृतिक एकता को बढ़ावा देने में अग्रणी रही है।

बीएसएस के महासचिव कर्नल दीपक डे ने कहा कि एक प्रगतिशील समाज के प्रमुख आधार स्तंभ होते हैं—सांस्कृतिक समावेशन, पारंपरिक कलाओं का संरक्षण, और इतिहास की प्रासंगिकता को समझना। यही तत्व किसी राष्ट्र की सामाजिक संरचना को मजबूती प्रदान करते हैं। इन्हीं मूल्यों को आधार बनाकर बीएसएस, चंडीगढ़ वर्षों से कार्यरत है। इस विशेष आयोजन को पूर्ण रूप से सफल बनाने हेतु प्रबंधन समिति निरंतर समर्पण और प्रतिबद्धता के साथ प्रयास कर रही है।

जात्रा एक पारंपरिक बंगाली रंगमंचीय नाट्य विधा है, जो खुले मंच, संगीतमय कथा-वाचन और भावनात्मक अभिनय के लिए जानी जाती है। इसमें संवाद, गीत और नृत्य के माध्यम से पौराणिक, ऐतिहासिक या सामाजिक विषयों को प्रस्तुत किया जाता है। यह विधा खासतौर पर ग्रामीण बंगाल में अत्यंत लोकप्रिय रही है।

‘बंगाली’ शीर्षक वाली इस जात्रा का निर्देशन श्री दिलीम चटर्जी द्वारा किया गया है, जिसमें श्रीमती अंजना मेनन मुख्य संयोजक की भूमिका में हैं और श्री भवानी पाल सांस्कृतिक प्रमुख के रूप में कार्यरत हैं।

इस जात्रा में विभिन्न किरदारों की भूमिकाओं में शामिल हैं: डॉ. अमित भट्टाचार्य, कर्नल दीपक डे, जयमाल्य सेनगुप्ता, बिस्वजीत सेन, दीपक ठाकुर, संदीप चटर्जी, देबाशीष कुलावी, सुनील चटर्जी, सौरव चक्रवर्ती, शंकर संत्रा, डॉ. अंगन रॉय, अंबिका कुलावी, तमिस्रा बनर्जी, समीता दत्ता, डॉ. बोसुधा, काजोल चटर्जी, सुभाशीष नियोगी और अनुभव सेन।

नृत्य प्रस्तुतियाँ प्रोजोत्सा, वंशिका, उमिका और आराध्या द्वारा दी जाएंगी। संगीत में योगदान देंगे आशीष डे, सुप्रिया सेनगुप्ता, प्रबल मित्रा और दीपांकर दास।